शिव तत्व की अनुभूति (कविता)स्वैच्छिक प्रतियोगिता हेतु -Apr-2024
शिव तत्व की अनुभूति (कविता)स्वैच्छिक प्रतियोगिता हेतु
शिव का श सुखशयन कराता, हर विपदा से हमें बचाता। दुख यदि आना भी चाहे तो, उल्टे पांँव उसे लौटाता।। ओम नमः शिवाय,बोलो ओम नमः शिवाय।
त्री तापों को इ है हरता, जीवन को है सुखमय करता। आदि-व्याधियाँ कभी न फटकें, सबको क्षण में क्षय यह करता।। ओम नमः शिवाय,बोलो ओम नमः शिवाय।
अमृत वर्षा व है कराए, कलमष्ता को दूर भगाए। दैहिक, दैविक, भौतिक तापा कोई कभी निकट ना आए। ओम नमः शिवाय,बोलो ओम नमः शिवाय।
शिव में है कल्याण समाया, अजर, अमर शाश्वत कहलाया। शिव कल्याण को करें निरंतर, सच्चा भक्त उन्हें है पाया।।
ओम नमः शिवाय,बोलो ओम नमः शिवाय।
आओ जीवन को हम जानें ,जो अविनाशी शिव में समाया। सकल जगत के ये ही नियंता, जो समझा भव को तर आया। ओम नमः शिवाय,बोलो ओम नमः शिवाय।
जीव मात्र के सुख में सुखी हों, सबका दुख हमें विचलित कर दे। शिव तत्व तब हमें मिल गया, शाश्वत सत्य को विकसित कर दे। ओम नमः शिवाय,बोलो ओम नमः शिवाय।
सृजन के करता शिव को जानो, संहारक भी इनको मानो। जैसी करनी, वैसी भरनी, स्वकर्मों को तुम पहचानो।
साधना शाही वाराणसी
Mohammed urooj khan
20-Apr-2024 01:26 PM
👌🏾👌🏾👌🏾👌🏾
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Arti khamborkar
20-Apr-2024 08:36 AM
V nice
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Anjali korde
19-Apr-2024 10:20 AM
Om namah shivay
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